
चौतरवा में महागठबंधन का चक्का जाम, दुकानें रही बंद, बड़े-बड़े वाहन का परिचालन ठप – पूर्व कांग्रेस प्रत्याशी
पंचानन सिंह बगहा पश्चिमी चंपारण।
बगहा।अनुमंडल क्षेत्र के चौतरवा में मतदाता सूची पुनरीक्षण के खिलाफ महागठबंधन ने लामबंदी तेज कर दी है। ऐसे में बुधवार को महागठबंधन की ओर से बिहार में चक्का जाम का ऐलान किया था। जहां सुबह से ही सडको पर भारी संख्या में महागठबंधन के कांग्रेस, राजद द्वारा जूलूस निकाल कर केन्द्र और राज्य सरकार की जमकर आलोचना किया।कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने चौतरवा एनएच 727 मुख्य मार्ग पर सड़क जाम कर घंटों तक बंद रखा।
चक्का जाम के दौरान सड़कों पर बड़े-बड़े वाहनों का परिचालन ठप तक रहा, दुकानें बंद रही। बगहा विधान सभा के पूर्व कांग्रेस प्रत्याशी जयेश मंगल सिंह उर्फ जय सिंह
ने कहा है कि इतिहास में पहली बार चुनाव आयोग ने संविधान की व्याख्या करते हुए ऐसी पुनरीक्षण प्रक्रिया शुरू की है, जो असल में नागरिकता की जांच में बदल गई है। मतदाता गहन पुनरीक्षण कार्यक्रम और चार श्रम कोड को वापस लेना ही होगा, बीच का कोई रास्ता नहीं है। उन्होने कहा कि मोदी सरकार अपने फायदे के लिए दबाव डालकर गरीबों का नाम हटवा सकती है। उन्होंने कहा कि जब जनवरी में मतदाता सूची का प्रकाशन हो चुका है तो फिर से प्रक्रिया शुरू करना संदेह पैदा करता है। इसलिए आयोग को तुरंत इस निर्णय को वापस लेना चाहिए।
प्रखण्ड अध्यक्ष दिनेश यादव ने कहा कि एसआइआर के लिए अभी न तो पर्याप्त समय है और न ही दस्तावेज सभी नागरिकों के पास उपलब्ध हैं। कुछ वैध दस्तावेजों राशन-कार्ड, मनरेगा जाब-कार्ड आदि को स्वीकार नहीं करने पर भी उन्होंने आपत्ति जताई है। उन्होने कहा कि हम चुनाव आयोग के इस कदम के खिलाफ हैं। इन नियमों बार-बार नागरिकता साबित करनी होगी।
बिहार चुनाव से पहले लाए गए निर्वाचन आयोग के नए संशोधन नियमों का मुख्य लक्ष्य 2026 का बंगाल चुनाव है। नए फैसले से प्रवासी श्रमिकों को परेशानी होगी। प्रखण्ड अध्यक्ष हरि पंडित
पिछड़ा अति पिछड़ा
ने कहा कि सरकार अपने फायदे के लिए दबाव डालकर दलितों, पिछडों, अल्पसंख्यकों का नाम हटवा सकती है।जब जनवरी में मतदाता सूची का प्रकाशन हो चुका है तो फिर से प्रक्रिया शुरू करना संदेह पैदा करता है। इसलिए आयोग को तुरंत इस निर्णय को वापस लेना चाहिए। कार्यक्रम में शत्रुघ्न साह,भुवनेश्वर मिश्रा, मुन्ना साह, चंदा राम, भुआल यादव, मोहन चौधरी, अमरजीत तिवारी हृदया गोंड समेत सैंकड़ों कांग्रेस और राजद कार्यकर्ता मौजूद थे।